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Edited By Naveen Kumar Pandey | नवभारतटाइम्स.कॉम | Updated:

- केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने सोमवार से खुल रहे कुछ स्थलों के लिए गाइडलाइंस जारी कर दी है
- अनलॉक इंडिया 1 के तहत 8 जून से धर्मस्थल, होटल, रेस्त्रां, मॉल आदि खुलने जा रहे हैं
- मंत्रालय ने कहा कि इन जगहों पर आने वालों को आरोग्य सेतु ऐप और सोशल डिस्टैंसिंग रखना अनिवार्य होगा
नई दिल्ली
स्वास्थ्य मंत्रालय ने गुरुवार को धार्मिक स्थलों, मॉल, रेस्त्रां और होटलों को खोलने के दिशानिर्देश जारी कर दिए। गृह मंत्रालय ने शनिवार को जारी दिशानिर्देशों में कंटेनमेंट जोन को छोड़कर देश के बाकी हिस्सों में धर्मस्थलों, मॉलो, रेस्त्रां और होटल खोलने की अनुमति दी थी। अनलॉक इंडिया 1 के तहत 8 जून से इन स्थलों को खोलने का ऐलान किया जा चुका है।
सबके लिए यह अनिवार्यअब जारी गाइडलाइंस में कहा गया है कि मॉल, होटल और धार्मिक स्थलों में जाने वालों को फोन में आरोग्य सेतु ऐप रखना होगा, फेस मास्क लगाना होगा और दूसरे लोगों से कम-से-कम 6 फीट की दूरी बरतनी होगी। लोगों की कतार सुनिश्चित करने के लिए घेरे का चिह्न बनाना होगा। साथ ही, उन्हीं लोगों को प्रवेश की अनुमति देनी होगी जिनमें कोरोना का कोई लक्षण नहीं पाया जाए।
शॉपिग मॉल जाना हो तो…
शॉपिंग मॉल में दुकानदारों को भीड़ जुटने से रोकना होगा ताकि सोशल डिस्टैंसिंग के नियमों का पालन सुनिश्चित हो सके। सरकार ने कहा है कि एलिवेटरों पर भी लोगों की सीमित संख्या तय करनी होगी।
मॉलों के अंदर दुकानें तो खुलेंगी, लेकिन गेमिंग आर्केड्स और बच्चों के खेलने की जगह और सिनेमा हॉल बंद रहेंगे।
शॉपिंग मॉलों में एयर कंडिशनिंग 24 से 30 डिग्री और ह्यूमिडिटी 40 से 70 प्रतिशत रखने का निर्देश।
होटलों के लिए निर्देश
होटलों में उन्हीं स्टाफ और मेहमानों की अनुमति होगी जिनमें कोरोना संक्रमण का कोई लक्षण नहीं हो।
होटलों में पेमेंट का ऑनलाइन या इलेक्ट्रिक फॉर्म चुना जाए और कैश लेनदेन से बचा जाए।
होटल मेहमानों को ऑनलाइन फॉर्म मुहैया कराए, कॉन्टैक्टलेस चेक-इन और चेक-आउट की व्यवस्था हो।
कमरों में मेहमान का सामान रखने से पहले डिसइन्फेक्ट किया जाए।
गेस्ट के लिए रूम सर्विस तो रहे, लेकिन सारी बातचीत मोबाइल या रूम में लगे फोन से हो।
रेस्त्रां को सुझाव
रेस्त्राओं में बैठकर खाने की जगह खाना घर ले जाने को प्राथमिकता देने का सुझाव।
मंदिर, मस्जि, गुरुद्वारा, गिरिजाघर आदि…
धर्मस्थलों में प्रवेश से पहले श्रद्धालुओं को हाथ-पांव धोने होंगे।
धर्मस्थलों में प्रार्थना सभा का आयोजन नहीं करने और श्रद्धालुओं को घर से चटाई या कपड़ा लाने का सुझाव दिया गया है।
प्रसाद वितरण या पवित्र जल के छिड़काव जैसी प्रथा पर रोक रहेगी।
धर्मस्थलों में संगीत तो बजेंगे, लेकिन कलाकारों को जुटाकर भजन-कीर्तन जैसे समारोह आयोजित नहीं होंगे।
मूर्तियों, पवित्र धर्म ग्रथों को छूने की अनुमति नहीं होगी।
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