विनय गोयल
नयी दिल्ली। यूपी में बीजेपी की परेशानियां कम होती नहीं दिख रही हैं। योगी सरकार में कैबिनेट मंत्री ओम प्रकाश ने सरकार के खिलाफ बिगुल बजाते हुए अपनी पार्टी के 39 उम्मीदवार उतारने की ऐलान कर दिया है। इससे बीजेपी की परेशानी और भी बढ़ती जा रही हैं। राजभर पहले भी योगी सरकार की कार्यप्रणालियों से नाुखश रहते थे। कई बार उन्होंने सार्वजनिक मंचों से योगी और सरकार की आलोचना भी करी है। उनका आरोप है कि योगी सरकार उनके कार्यकर्ताओं और इलाकों की समस्याओं पर ध्यान नहीं देते हैं।
पहले भी वो बीजेपी नेतृत्व को चेतावनी दे चुके हैं कि प्रदेश सरकार ने अपना रवैया नही बदला तो आम चुनाव में वो एनडीए का साथ छोड़ सकते है। प्रदेश सरकार और ओमप्रकाश राजभर के बीच सुलह कराने के लिये अमित शाह ने प्रयास किया था। कुछ दिनों तक राजभर शांत भी रहे लेकिन आम चुनाव के करीब आते ही राजभर ने अपना रंग दिखाना शुरू कार दिया। उन्होंने भाजपा को साफ चेतावनी दे दी कि उनकी पार्टी को भी सही अनुपात में सीटें नही मिलीं तो वो अपनी पार्टी के उम्मीदवार उतार देंगे। लेकिन सत्ता के नशे में बीजेपी ने राजभर को तवज्जो नहीं दी। इस राजभर ने यूपी की 39 सीटों पर उम्मीदवारों की लिस्ट जारी कर दी। सबसे बड़ी बात तो यह है कि ओमप्रकाश ने लखनऊ, बनारस और गोरखपुर से भी उम्मीदवारों को खड़ा करने की घोषणा कर दी है।
लखनऊ से केन्द्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह चुनाव लड़ रहे हैं। उनके लिये इस बार चुनाव जीतना उतना आसान नहीं है। इस बार कांग्रेस ने आचार्य प्रमोद कृष्णन को टिकट दिया है। प्रमोद कृष्णन एक प्रखर वक्ता और साफ्ट हिन्दुत्व के लिये जाने जाते हैं। कांग्रेस ने योगी की काट के लिये पिछले विधानसभाओं के चुनाव में इस्तेमाल किया था। दूसरी ओर समाजवादी पार्टी ने बिहारी बाबू की पत्नी पूनम सिन्हा को राजनाथ के खिलाफ उम्मीदवार बनाया है। लखनऊ में अच्छी तादाद में कायस्थ मतदाता हैं। सपा इन मतदाताओं को रिझाने का काम करेगी। साथ ही मुस्लिम वोटर भी सपा के साथ जाने की संभावना है। राजभर ने यहां बब्बन राजभर को टिकट दिया है। यहां से बब्बन का जीतना तो असंभव है लेकिन राजनाथ के लिये परेशानी बढ़ जायेगी।
इसी तरह राजभर ने गोरखपुर से राधेश्याम सिंह सैंथवार को टिकट दिया है। वहां उप चुनाव में सपा के टिकट पर प्रवीण निषाद जीते थे। लेकिन सपा, बसपा और रालोद के गठबंधन से नाराज हो कर निषाद ने पाला बदलते हुए बीजेपी का दामन थाम लिया था। इस उम्मीद से कि उन्हें गोरखपुर से बीजेपी टिकट देगी। लेकिन भाजपा ने वहां से ऐक्टर रवि किशन को टिकट दे कर प्रवीण निषाद के ख्वाब तोड़ दिये। सपा और बसपा के गठबंधन ने गोरखपुर से राम भुआल निषाद को टिक दिया है। यहां बीजेपी कैंडिडेट का जीतना आसान नहीं है। यह बात दीगर है कि पिछले कई दशकों से यहां बीजेपी का परचम लहराता रहा है।